क्रिप्टोकरेंसी की पूरी जानकारी (Cryptocurrency Explained in Hindi)

क्रिप्टोकरेंसी का मतलब, इसके प्रकार, नुकसान और फायदें तथा भविष्य!

क्रिप्टो-करेंसी (Cryptocurrency) क्या है!

ऐसी मुद्रा (Currency) जो ‘एन्क्रिप्टेड’ यानी कोडेड हो। Cryptocurrency वर्चुअल या डिजिटल पैसा है, जो क्रिप्टोग्राफी द्वारा सिक्योर्ड होता है जिससे इसकी नकल या कोई गड़बड़ी असंभव हो जाता है। यह डिजिटल संपत्ति का एक रूप है और यह ब्लॉकचेन तकनीक पर आधारित है। Bitcoin, Ethereum और Litecoin क्रिप्टोकरेंसी के कुछ उदाहरण है।

अन्य मुद्राएं (डॉलर, रुपये) की तरह यह किसी देश के सरकार द्वारा जारी नहीं की जाती हैं, इसका कंट्रोल या रिकॉर्ड बैंक, सरकारी एजेंसी नहीं रख सकती क्योंकि क्रिप्टोकरेंसी डिसेंट्रलाइज्ड डिजिटल मुद्रा होता है। इसका इस्तेमाल चीज़ों की खरीदारी या सर्विसेज के लिए किया जाने लगा है।

नोट:

  1. पहली क्रिप्टोकरेंसी ‘बिटकॉइन‘ थी, जो अभी भी सबसे लोकप्रिय है।
  2. क्रिप्टोकरेंसी” शब्द एन्क्रिप्शन तकनीकों से लिया गया है जिनका उपयोग नेटवर्क को सुरक्षित करने के लिए किया जाता है।
  3. कई कारणों से क्रिप्टोकरेंसी की आलोचना होती रही है, जिसमें अवैध गतिविधियों के लिए इनका उपयोग, एक्सचेंज रेट में अस्थिरता शामिल हैं।
  4. हालांकि क्रिप्टोकरेंसी की पारदर्शिता, पोर्टेबिलिटी और मुद्रास्फीति प्रतिरोध के लिए प्रशंसा भी की गई है।
  5. ब्लॉकचेन तकनीक में ऑनलाइन वोटिंग जैसे उपयोगों के लिए उपयुक्त क्षमता हैं।

विभिन्न प्रकार के क्रिप्टोकरेंसी (Top Cryptocurrency Name list):

  1. बिटकॉइन (Bitcoin)
  2. एथेरियम (Ethereum)
  3. कार्डनो (Cardano)
  4. बिनान्स कॉइन (Binance Coin)
  5. टेथर (Tether)
  6. पोल्काडॉट (Polkadot)
  7. लाइटकॉइन (Litecoin)
  8. बिटकॉइन कैश (Bitcoin Cash)
  9. चैनलिंक (Chainlink)

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बिटकॉइन (Bitcoin):

बिटकॉइन को 2009 में “सातोशी नाकामोटो” द्वारा लॉन्च किया गया था।
सितम्बर 2021 तक, लगभग 859 बिलियन डॉलर के कुल मार्केट कैपिटल के साथ 18 मिलियन से अधिक बिटकॉइन प्रचलन में थे। सभी क्रिप्टोकरेंसी का कुल मूल्य $1.8 ट्रिलियन से अधिक है, जिसमें बिटकॉइन का शेयर लगभग 46.5% है।

एथेरियम (Ethereum):

यह 2015 में लॉन्च किया गया था, वर्तमान में बिटकॉइन के बाद दूसरी सबसे बड़ी डिजिटल मुद्रा है। एथेरियम का लक्ष्य वित्तीय उत्पादों का एक डिसेंट्रलाइज्ड सिस्टम बनाना है जिसे दुनिया में कोई भी स्वतंत्र रूप से एक्सेस कर सके।

कार्डनो (Cardano):

कार्डानो को ‘एनवीरोंमेन्टली फ्रेंडली’ क्रिप्टोकरेंसी के रूप में जाना जाता है क्योंकि इसमें बिटकॉइन के तरह खनन प्रक्रिया में अत्याधिक ऊर्जा नहीं लगता है। यह ‘Proof of Stake’ मॉडल पर आधारित होने वाली पहली बड़ी क्रिप्टोकरेंसी है। इस मॉडल का मतलब है कि कार्डानो रखने वाले सभी लोग इसके लिये वोट कर सकते हैं।

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बायनेंस कॉइन (Binance Coin):

बिनेंस एक्सचेंज की स्थापना चांगपेंग झाओ ने की थी, और यह ट्रेडिंग वॉल्यूम के आधार पर दुनिया में सबसे व्यापक रूप से उपयोग किए जाने वाले एक्सचेंजों में से एक है।

टेथर (Tether):

2014 में लॉन्च किया गया था। अधिकांश डिजिटल मुद्राएं, यहां तक ​​कि बिटकॉइन जैसी प्रमुख मुद्राओं ने भी नाटकीय अस्थिरता अनुभव किया है, टीथर जैसी स्थिर मुद्राएं मूल्य में उतार-चढ़ाव को सुचारू करने का प्रयास करती हैं। टीथर की कीमत सीधे अमेरिकी डॉलर की कीमत से जुड़ी होती है।

पोल्काडॉट (Polkadot):

यह 2017 में लॉन्च किया गया था, स्विस रिसर्च फाउंडेशन का यह प्रोजेक्ट भी ब्लॉकचेन पर आधारित है। पोलकाडॉट एथेरियम से थोड़ा अलग है, पोलकाडॉट पर सिर्फ डिसेंट्रलाइज्ड एप्लिकेशन बनाने के बजाय, डेवलपर्स पोलकाडॉट में पहले से मौजूद सुरक्षा का उपयोग करते हुए अपना खुद का ब्लॉकचेन बना सकते हैं।

लाइटकॉइन (Litecoin):

‘बिटकॉइन का हल्का संस्करण’ के रूप में निर्मित, लाइटकोइन अपनी मूल मुद्रा के समान ही ताकत रखता है। छोटे व्यापारी लेनदेन के लिए सुरक्षित और अधिक कुशल है। इस कॉइन को डेली लाइफ में भुगतान के लिए Bitcoin से ज्यादा बेहतर माना जाता है.

बिटकॉइन कैश (Bitcoin Cash):

यह अपने चचेरे भाई बिटकॉइन की तुलना में कम विनिमय मूल्य का होता है, लेकिन यह तेज लेनदेन गति और कम लेनदेन शुल्क प्रदान करता है।

चेनलिंक एक डिसेंट्रलाइज्ड ओरेकल नेटवर्क है। चेनलिंक का बाजार पूंजीकरण $13.5 बिलियन है और एक लिंक (Coin) का मूल्य $30.50 है।

क्रिप्टोकरेंसी के नुकसान और फायदें (Cryptocurrency benefits and risks):

फायदें-

  • किसी बैंक या क्रेडिट कार्ड कंपनी जैसे किसी थर्ड पार्टी की आवश्यकता के बिना, क्रिप्टोकरेंसी दो पक्षों के बीच सीधे फंड ट्रांसफर करना आसान बनाता है।
  • क्रिप्टोकरेंसी की सिक्योर्ड पेमेंट सिस्टम, पारदर्शिता और पोर्टेबिलिटी इसको पारंपरिक करेंसी सिस्टम से अलग बनाते है।
  • क्रिप्टोक्यूरेंसी सिस्टम में, उपयोगकर्ता के खाते में निजी कुंजी (Private Key) होती है जो लेनदेन के दौरान हस्ताक्षर करने के लिए उपयोग की जाती है।
  • फंड ट्रांसफर कम प्रोसेसिंग शुल्क में पूरा हो जाता है, जिससे उपयोगकर्ता बैंकों और वित्तीय संस्थानों द्वारा लगाए जाने वाले भारी शुल्क से बच सकते हैं।

नुकसान-

  • क्रिप्टोकरेंसी लेनदेन की प्रकृति उन्हें कई अवैध गतिविधियों, जैसे कि मनी लॉन्ड्रिंग और कर चोरी के लिए अच्छी तरह से अनुकूल बनाती है।
  • इससे फाइनेंस और लॉ इंडस्ट्री में असाधारण बदलाव हो सकतें है।
  • एक डिजिटल क्रिप्टोक्यूरेंसी बैलेंस हार्ड ड्राइव के नुकसान या क्रेश से मिट सकता है यदि प्राइवेट की का बैकअप कॉपी मौजूद नहीं हो।
  • क्योंकि क्रिप्टोकरेंसी वर्चुअल हैं और एक केंद्रीय डेटाबेस पर संग्रहीत नहीं हैं, हार्ड ड्राइव के नुकसान की स्तिथि में इसको वापस रिस्टोर नहीं किया जा सकता।

क्रिप्टोकरेंसी से सम्बंधित अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न :

क्रिप्टोकरेंसी क्या होता है?

Cryptocurrency वर्चुअल या डिजिटल मुद्रा होती है। यह डिजिटल संपत्ति का एक रूप है और यह ब्लॉकचेन तकनीक पर आधारित है। Bitcoin, Ethereum और Litecoin क्रिप्टोकरेंसी के कुछ उदाहरण है। ये पैसे किसी देश के बैंक या सरकारी संस्था द्वारा जारी नहीं किये जाते बल्कि सम्बंधित ब्लाकचैन नेटवर्क जारी करतें है। ये बेहद सिक्योर्ड होता है जिससे इसकी नकल या कोई गड़बड़ी की संभावना नहीं होती है।

क्रिप्टोकरेंसी कैसे खरीदें?

कोई भी निवेशक क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज जैसे WazirX, कॉइनस्विच कुबेर, CoinDCX, कॉइनबेस, कैश ऐप आदि के माध्यम से क्रिप्टोकरेंसी खरीद सकता है।

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क्रिप्टोकरेंसी से पैसे कैसे कमातें है?

निवेशक विभिन्न क्रिप्टोकरेंसी का खनन (Mining) करके या केवल अपने क्रिप्टोकरेंसी को लाभ पर बेचकर पैसा कमा सकते हैं। क्रिप्टोकरेंसी ऑनलाइन सुरक्षित भुगतान की अनुमति देता है, जिसे वर्चुअल ‘टोकन’ के रूप में दर्शाया जाता है, जिसे सिस्टम के आंतरिक लेज़र में दर्ज किया जाता है।

सबसे सस्ती क्रिप्टो करेंसी कौन सी है?

हालांकि क्रिप्टोकरंसी कोई कंपनी नहीं होती, यह एक ब्लॉकचेन नेटवर्क टेक्नोलॉजी होती है जो की पूरी डिमांड और सप्लाई पर काम करती है। किसी भी क्रिप्टोकरंसी कॉइन का भाव सिर्फ डिमांड और सप्लाई पर ही बढ़ता और घटता है। डोज कॉइन, ट्रोन, रिप्पल जैसे क्रिप्टोकरंसी काफी सस्ते होते है।

इंडिया में क्रिप्टो-करेंसी का भविष्य क्या है?

भारत में क्रिप्टोकरेंसी को लेकर अभी कोई सरकारी गाइडलाइन या नियम-कानून मौजूद नहीं हैं। क्रिप्टोकरेंसी के ख़रीद-बिक्री के लिए भारत में इस समय 20 क्रिप्टो एक्सचेंज मार्केट हैं जिनमें वज़ीरएक्स नामक क्रिप्टोकरेंसी काफी सुर्ख़ियों में था। शुरुआत के दौर में क्रिप्टोकरेंसी पर भारत में पाबंदी लगाने की सलाह दी जा रही थी, लेकिन बाद में वित्त मंत्री ने संकेत दिए थे कि वर्चुअल करेंसियों को केवल रेगुलेट किया जाएगा, उन पर प्रतिबंध नहीं लगाया जाएगा.

वर्ष 2018 में आरबीआई द्वारा एक सर्कुलर जारी कर सभी बैंकों को क्रिप्टोकरेंसी के क्षेत्र में कार्य करने से रोका गया। इस सर्कुलर को सुप्रीम कोर्ट ने मई 2020 में असंवैधानिक घोषित कर दिया था। डिजिटल क्रांति के अगले चरण में दुनिया के साथ कंधा से कंधा मिलाकर चलने के लिये इंडिया को इसे स्वीकार करने की आवश्यकता है। शुरू में लोगों का मुद्रा (रुपये) पर भी भरोसा नहीं था, इसे लोगों का भरोसा हासिल करने में एक युग लगा। वैसा ही क्रिप्टोकरेंसी के मामले में भी हो सकता है।

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लाभदायक क्रिप्टोकरेंसी की पहचान कैसे करें!

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